जुदाई शायरी - Hindi Joke And shayari

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Monday 16 October 2017

जुदाई शायरी


  • जुदाई शायरी

आँखों के सामने हर पल आपको पाया है ,
अपने दिल में सिर्फ आपको ही बसाया है ,
आपके बिना हम जिए तो भी कैसे ,
भला जान के बिना भी कोई जी पाया है


ना हथियार से मिलते है ,
ना अधिकार से मिलते है ,
दिलो में जगह अपने व्यवहार से मिलते है


प्यार तो जिंदगी का एक अफसाना है,
इसका अपना ही एक तराना है,
सबको मालूम है कि मिलेंगे सिर्फ आंसू,
पर न जाने क्यों, दुनियां में हर कोई इसका दीवाना है ….!


देख मेरी आँखों में ख्वाब किसके हैं,
दिल में मेरे सुलगते तूफ़ान किसके हैं,
नहीं गुज़रा कोई आज तक इस रास्ते से हो कर,
फिर ये क़दमों के निशान किसके हैं।


खुशबु बनकर आपके पास बिखर जायेंगे !
हवा बनकर आपके सांसो मे सामा जायेंगे!
धड़कन बनकर आपके दिल मे उतर जायेंगे!!
जरा महसूस करने की कोशिश तो कीजिए!
दूर रहकर भी पास नजर आएंगे!!


तू रूठा रूठा सा लगता है ,
कोई तरकीब बता मनाने की ,
मैं ज़िन्दगी गिरवी रख दूँगी ,
तूँ कीमत बता मुस्कराने की।


ना वो कभी आ सके ना हम कभी जा सके ,
ना दर्द दिल का किसी को सुना सके ,
बस खामोश बैठे हैं उनकी यादों में ,
ना उन्होंने याद किया ना हम उनको भूला सके।


प्यार किया बदनाम हो गए,
चर्चे हमारे सरेआम हो गए,
ज़ालिम ने दिल उस वक़्त तोडा,
जब हम उसके गुलाम हो गए


 “कुछ मतलब के लिए ढूँढते हैं मुझको,
बिन मतलब जो आए तो क्या बात है,
कत्ल कर के तो सब ले जाएँगे दिल मेरा,
कोई बातों से ले जाए तो क्या बात है.


ज़माने से नहीं, तन्हाई से डरते हैं,
प्यार से नहीं, रुसवाई से डरते हैं,
मिलने की उमंग है दिल में लेकिन,
मिलने के बाद तेरी जुदाई से डरते हैं


बिन बात के ही रूठने की आदत है;
किसी अपने का साथ पाने की चाहत है;
आप खुश रहें, मेरा क्या है;
मैं तो आइना हूँ, मुझे तो टूटने की आदत है।


घर से बाहर कोलेज जाने के लिए वो नकाब मे निकली,
सारी गली उनके पीछे निकली,
इनकार करते थे वो हमारी मोहबत से,
और हमारी ही तसवीर उनकी किताब से निकली


उसे भूल कर जिया तो क्या जिया ,
दम है तो उसे पाकर दिखा ,
लिख पथरों पर अपनी प्रेम कहानी ,
और सागर को बोल ,
दम है तो इसे मिटाकर दिखा.


जहाँ याद न आये तेरी वो तन्हाई किस काम की;
बिगड़े रिश्ते न बने तो खुदाई किस काम की;
बेशक़ अपनी मंज़िल तक जाना है हमें;
लेकिन जहाँ से अपने न दिखें, वो ऊंचाई किस काम की।


उलझी शाम को पाने की ज़िद न करो;
जो ना हो अपना उसे अपनाने की ज़िद न करो;
इस समंदर में तूफ़ान बहुत आते है;
इसके साहिल पर घर बनाने की ज़िद न करो..


भीड़ की आदत नहीं मुझे,
थोड़े में जीना सीख लिया है मैंने,
चन्द दोस्त हैं, चन्द दुआएं हैं,
बस इन खुशियों को गले लगा लिया मैंने ।


रात गुमसूँ है मगर चेन खामोश नही,
कैसे कह दू आज फिर होश नही,
ऐसा डूबा तेरी आखो की गहराई मैं,
हाथ में जाम है मगर पीने का होश नही


वफ़ा का दरिया कभी रुकता नही,
इश्क़ में प्रेमी कभी झुकता नही,
खामोश हैं हम किसी के खुशी के लिए,
ना सोचो के हमारा दिल दुःखता नहीं!


किसी ने मुझ से कहा बहुत खुबसूरत लिखते हो यार,मैंने कहा खुबसूरत मैं नहीं वो है जिसके लिए हम लिखा करते है

कोई वादा ना कर, कोई ईरादा ना कर,
ख्वाइशों मे खुद को आधा ना कर,
ये देगी उतना ही जितना लिख दिया खुदा ने,
इस तकदीर से उम्मीद ज़्यादा ना कर… !!


काँच का तोहफा ना देना कभी,
रूठ कर लोग तोड दिया करते हैं,
जो बहुत अच्छे हो उनसे प्यार मत करना,
अकसर अच्छे लोग ही दिल तोड दिया करते है


न मिले किसी का साथ तो हमें याद करना,
तन्हाई महसूस हो तो हमें याद करना,
खुशियाँ बाटने के लियें दोस्त हजारो रखना,
जब ग़म बांटना हो तो हमें याद करना ….


दर्द का एहसास जानना है तो प्यार करके देखो,
अपनी आँखों में किसी को उतार कर देखो,
चोट उनको लगेगी आँसू तुम्हें आ जायेंगे,
ये एहसास जानना हो तो दिल हार कर देखो।


तेरी मोहब्बत से मुझे इनकार नहीं ,
कौन कहता है जान मुझे तुझसे प्यार नहीं ,
तुझसे वादा है साथ निभाने का,
पर मुझे अपनी साँसों पर ऐतबार नहीं


मोहब्बत की गवाही अपने
होने की ख़बर ले जा
जिधर वो शख़्स रहता है
मुझे ऐ दिल! उधर ले जा


प्यार करो तो हमेशा मुस्करा के ..
किसी को धोखा ना दो अपना बना के ..
कर लो याद जब तक हम ज़िंदा हैं ..
फिर ना कहना कि चले गए दिल में यादें बसा कर


जिस जिस ने मुहब्बत में,
अपने महबूब को खुदा कर दिया,
खुदा ने अपने वजूद को बचाने के लिए,
उनको जुदा कर दिया


सकून मिलता है जब उनसे बात होती है ,
हज़ार रातों में वो एक रात होती है,
निगाह उठाकर जब देखते हैं वो मेरी तरफ ,
मेरे लिए वो ही पल पूरी कायनात होती है।


आग दिल में लगी जब वो खफ़ा हुए,
महसूस हुआ तब, जब वो जुदा हुए,
करके वफ़ा कुछ दे ना सके वो,
पर बहुत कुछ दे गए जब वो बेवफ़ा हुए!


किसी ना किसी पर किसी को ऐतबार हो जाता है ,
अजनबी कोई सखा यार हो जाता है ,
खूबियाँ से नहीं होती मोहब्बत सदा ,
कमियों से भी अकसर प्यार हो जाता है।


छोड़ तो सकता हूँ,
मगर..
छोड़ नहीं पाता उसे,
वो शख्स मेरी बिगड़ी हुई..
आदत की तरह है..


दिल का हाल बताना नहीं आता
किसी को ऐसे तड़पाना नहीं आता ….
सुनना चाहते हैं आपकी आवाज़ ….
मगर बात करने का बहाना नहीं आता….

जुदाई के मोड़ पर...

यह हम ही जानते हैं जुदाई के मोड़ पर, 
इस दिल का जो भी हाल तुझे देख कर हुआ।


जुदाई का मलाल...

जब तक मिले न थे जुदाई का था मलाल, 
अब ये मलाल है कि तमन्ना निकल गई।

तो जुदाई भी नहीं...

अब अगर मेल नहीं है तो जुदाई भी नहीं, 
बात तोड़ी भी नहीं तुमने तो बनाई भी नहीं।

मार डालेगी जुदाई...

हमें ये मोहब्बत किस मोड़ पे ले आई, 
दिल में दर्द है और ज़माने में रुसवाई, 
कटता है हर एक पल सौ बरस के बराबर, 
अब मार ही डालेगी मुझे तेरी जुदाई।

दिल से जुदा होना...

इतना बेताब न हो मुझसे बिछड़ने के लिए, 
तुझे आँखों से नहीं मेरे दिल से जुदा होना है।